४ . ऐन फ्रैंक के छिपने की जगह का वर्णन कीजिए
उ। इमारत के तल मंज़िल पर बना बड़ा - सा गोदाम काम करने की जगह और भण्डार घर के रूप में इस्तेमाल होता था। सीढ़ियों के ऊपर बनी जगह से दाईं तरफ का दरवाज़ा घर के पिछवाड़े उनके गुप्त एनेक्सी की तरफ जाता था। कोई कल्पना भी नहीं कर सकता था कि इस सपाट मटमैले दरवाज़े के पीछे इतने कमरे भी हो सकते हैं। सीढ़ियों की दाईं तरफ गुसलखाना और बिना खिड़कियोंवाले एक कमरा था , जिसमे एक वाशबेसिन लगा था। दरवाज़े से ऐन और मार्गोट के कमरे की तरफ जाया जा सकता है।
५. ऐन फ्रैंक और उसका परिवार कैसे पकड़ा गया था ? उनका अंत कैसे हुआ ?
उ। ६ जनवरी १९४५ को आस्चविट्ज़ में भूख और यंत्रणा से ऐन के माँ एडिथ फ्रैंक की मृत्यु हो गई। मार्गोट और ऐन फ्रैंक को अक्टूबर में बर्गेन बेलसेन के यातना शिविर में लाया जाया गया। यहां गंदगी के कारण टॉयफस नाम की महामारी फैली हुई थी। मार्गोट और ऐन इसका शिकार हो गईं। १२ अप्रैल, १९४५ को ब्रिटिश सेना द्वारा यातना शिविर को मुक्त कराने पर युद्ध समाप्त हुआ, किन्तु तब तक केवल ऐन फ्रैंक के पिता ओट्टो फ्रैंक ही जीवित बचे थे।
प्र युद्ध से जन - जीवन कैसे प्रभावित होता है ?
उ। युद्ध के समय जन - जीवन ठप हो जाता है। असुरक्षा की भावना पीछा नहीं छोड़ती।
जो काम सरल होता है , वह काम कठिन हो जाता है।
कल - कारखाने बंद हो जाते हैं।
स्कूलों की छुट्टी हो जाती है। ऑफिस बंद हो जाता है।
युद्ध के कारण की लोग मर जाते हैं।
समाप्त। ………………………………………
सबकी सखी ,
लक्ष्मी :-)))
उ। इमारत के तल मंज़िल पर बना बड़ा - सा गोदाम काम करने की जगह और भण्डार घर के रूप में इस्तेमाल होता था। सीढ़ियों के ऊपर बनी जगह से दाईं तरफ का दरवाज़ा घर के पिछवाड़े उनके गुप्त एनेक्सी की तरफ जाता था। कोई कल्पना भी नहीं कर सकता था कि इस सपाट मटमैले दरवाज़े के पीछे इतने कमरे भी हो सकते हैं। सीढ़ियों की दाईं तरफ गुसलखाना और बिना खिड़कियोंवाले एक कमरा था , जिसमे एक वाशबेसिन लगा था। दरवाज़े से ऐन और मार्गोट के कमरे की तरफ जाया जा सकता है।
५. ऐन फ्रैंक और उसका परिवार कैसे पकड़ा गया था ? उनका अंत कैसे हुआ ?
उ। ६ जनवरी १९४५ को आस्चविट्ज़ में भूख और यंत्रणा से ऐन के माँ एडिथ फ्रैंक की मृत्यु हो गई। मार्गोट और ऐन फ्रैंक को अक्टूबर में बर्गेन बेलसेन के यातना शिविर में लाया जाया गया। यहां गंदगी के कारण टॉयफस नाम की महामारी फैली हुई थी। मार्गोट और ऐन इसका शिकार हो गईं। १२ अप्रैल, १९४५ को ब्रिटिश सेना द्वारा यातना शिविर को मुक्त कराने पर युद्ध समाप्त हुआ, किन्तु तब तक केवल ऐन फ्रैंक के पिता ओट्टो फ्रैंक ही जीवित बचे थे।
जीवनमूलयपरक प्रश्न उत्तर
प्र युद्ध से जन - जीवन कैसे प्रभावित होता है ?
उ। युद्ध के समय जन - जीवन ठप हो जाता है। असुरक्षा की भावना पीछा नहीं छोड़ती।
जो काम सरल होता है , वह काम कठिन हो जाता है।
कल - कारखाने बंद हो जाते हैं।
स्कूलों की छुट्टी हो जाती है। ऑफिस बंद हो जाता है।
युद्ध के कारण की लोग मर जाते हैं।
समाप्त। ………………………………………
सबकी सखी ,
लक्ष्मी :-)))
सरसुती के भण्डार की बड़ी अपूरब बात,
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